Ganesh Chaturthi / Vinayak Chaturthi 2020 गणपति मूर्ति स्थापना पूजा विधि का शुभ मुहूर्त व सम्पूर्ण गणेश मंत्र : हमारे देश में त्योहारों को बड़े – धाम से मनाया जाता है | कुछ त्यौहार धार्मिक पहचान के लिए तो कुछ त्यौहार क्षेत्र की संस्कृतिक को ध्यान में रखकर मनाया जाता है | जिस तरह पश्चिमी बंगाल की दुर्गा पूजा आज पुरे भारत में प्रसिद्ध है उसी तरह महाराष्ट्र में मनाए जाने वाला गणेशोत्सव / गणेश चतुर्थी पुरे देश में प्रसिद्ध है | गणेश चतुर्थी का पर्व पुरे भारत में बड़े धूम – धाम से मनाया है | हिन्दू कलेंडर के अनुसार गणेश चतुर्थी भाद्रपद माह के शुक्ल पक्ष को मनाई जाती है | ऐसा माना जाता है कि भगवान श्री गणेश का जन्म भाद्रपद माह के शुक्ल पक्ष को हुआ था | अंग्रेजी कलेंडर के अनुसार यह पर्व अगस्त / सितम्बर माह में आता है | यह त्यौहार ( गणेश चतुर्थी ) गणेश जयंती के रूप में मनाया जाता है | इस दिन भगवान श्री गणेश जी महाराज को ज्ञान, समृद्धि और सौभाग्य के देवता के रूप में पूजा जाता है |
Ganesh Chaturthi / Vinayak Chaturthi 2020 22 अगस्त, शनिवार को मनाई जाएगी | बहुत से लोग गणेश मूर्ति स्थापना का शुभ समय / गणपति मूर्ति स्थामाना मुहूर्त क्या है, गणेश पूजा विधि, गणपति / गणेश मंत्र इत्यादि खोज रहे है | ताकि गणेश जी महाराज की कृपा हमेशा बनी रहे | और आज हम आपको यहाँ भारतीय विद्वान पंडितो द्वारा निर्धारित गणेश मूर्ति स्थापना का शुभ मुहूर्त, गणेश पूजा विधि व गणपति को प्रसन्न करने के लिए गणेश मंत्र बताएँगे | आप इस पेज के अंत तक गणेश मूर्ति / फोटो स्थापना कैसे कब कहा व किस समय पर करे ? गणेश जी महाराज को प्रसन्न करने के लिए पूजा कैसे करे ? गणेश जी महाराज के मंत्र के बारे में सभी जानकारी प्राप्त कर सकते है |
गणेश चतुर्थी का त्यौहार 10 दिनों तक मनाया जाता है इसलिए गणेश चतुर्थी को गणेशोत्सव के नाम से भी जाना जाता है | वे लोग जो श्री गणेश जी महाराज को अपना अराध्य / कुल देवता मानते है तथा जो भगवान श्री गणेश जी में आस्था रखते है वे गणेश चतुर्थी के दिन गणेश स्थापना / गणपति मूर्ति स्थापना पूजा – पाठ करते है व 10वे दिन बड़े धूम – धाम से किसी तालाब, समुन्द्र, बावड़ी इत्यादि में भगवान श्री गणेश की मूर्ति का विसर्जन करते है इसलिए इस दिन को गणेश विसर्जन / गणपति विसर्जन के रूप में जाना जाता है |
गणेश चतुर्थी पूजा / गणपति मूर्ति स्थापना शुभ मुहूर्त 2020
Contents
Ganesh Chaturthi Puja Time / Ganapati Murti Sthapna Muhurat 2020 :- As per Hindu time-keeping, the time duration between sunrise to sunset is divided into five equal parts. These five parts are known as Pratahkala, Sangava, Madhyahna, Aparahna and Sayankal. Ganapati Sthapana and Ganapati Puja on Ganesha Chaturthi (Ganapati Sthapana and Ganapati Puja Muhurat) are done during Madhyahna part of the day and as per Vedic astrology it is considered the most appropriate time for Ganesha Puja.
प्राचीन ग्रंथो व पुराणों के अनुसार माना जाता है की भगवन श्री गणेश का जन्म भाद्रपद माह के शुक्ल पक्ष को मध्याह्न के समय हुआ था इसलिए पूजा व मूर्ति स्थापना का शुभ समय मध्याह्न है | गणेश चतुर्थी के दिन भगवान श्री गणेश जी की मूर्ति की स्थापना व गणपति पूजा का शुभ मुहूर्त ( Madhyahna Ganesha Puja & Ganesh Murti Sthapana Muhurat 2020 ) Abhijit Muhurat : 11:51 AM − 12:41 PM Amrit Kal Muhurat : 01:42 PM − 03:09 PM है |
Ganesh Chaturthi 2020 Date & Time
गणेश चतुर्थी 2020 स्थापना दिवस व शुभ मुहूर्त गणेश मूर्ति स्थापना दिवस : 22 अगस्त 2020 गणेश विसर्जन दिनांक : 01 सितम्बर 2020 गणेश मूर्ति स्थपा का अभिजित शुभ मुहूर्त : 11 बजकर 51 मिनट से 12 बजकर 41 मिनट तक गणेश मूर्ति स्थपा का अमृत कालम् शुभ मुहूर्त : दोपहर 01 बजकर 42 मिनट से 03 बजकर 09 मिनट तक |
गणेश चतुर्थी का शुभ मुहूर्त Ganesh Chaturthi Shubh Muhurat
मध्यान्ह गणेश पूजन मुहूर्त – 10:46 सुबह से 1:57 दोपहर तक
वर्जित चंद्रदर्शन का समय – 8:47 रात से 9:22 रात तक
चतुर्थी तिथि आरंभ – 21 अगस्त की रात 11:02 बजे से
चतुर्थी तिथि समाप्त : 22 अगस्त की रात 7:56 बजे तक।
गणेश पूजन / गणपति पूजन सामग्री Ganesh Chaturthi Pujan Samagri
Ganesh Pujan Samagri :- गणेश चतुर्थी के दिन गणेश मूर्ति स्थापित कर पूजा करने के लिए हमे पूजन सामग्री की जरूरत होती है | गणेश पूजन / गणपति पूजन के लिए आवश्यक सामग्री – शुद्ध जल, गंगाजल, सिन्दूर, रोली, रक्षा, कपूर, घी, दही, शहद, दूब, चीनी, पुष्प, पान, सुपारी, रूई, प्रसाद (लड्डू गणेश जी को बहुत प्रिय है), पंचामृत, वस्त्र, जनेऊ, मधुपर्क, सुगंध, लाल चन्दन, अक्षत(चावल), पुष्प माला, बेलपत्र, सुगन्धित तेल, धूपबत्ती, दीपक इत्यादि | कहा जाता है कि इसके बिना गणेश पूजा पूरी नहीं होती है | गणेश जी को दक्षिणा अर्पित कर उन्हें 21 लड्डूओं का भोग लगाएं | गणेश जी के पास पांच लड्डू रखकर बाकी बांट देने चाहिए |
पूजन :
पंचोपचार पूजन- 1. गंध, 2. पुष्प, 3. धूप, 4. दीप, 5 नैवेद्य।
षोडषोपचार पूजन-
- आह्वान,
- आसन (स्थान ग्रहण कराएं),
- पाद्य (हाथ में जल लेकर मंत्र पढ़ते हुए प्रभु के चरणों में अर्पित करें),
- अर्घ्य (चंद्रमा को अर्घ्य देने की तरह पानी छोड़ें),
- आचमनीय (मंत्र पढ़ते हुए 3 बार जल छोड़ें),
- स्नान (पान के पत्ते या दूर्वा से पानी लेकर छींटें मारें),
- वस्त्र (सिलेसिलाए वस्त्र, पीताम्बरी कपड़ा या कलावा),
- यज्ञोपवीत (जनेऊ),
- आभूषण (हार, मालाएं, पगड़ी आदि),
- गंध (इत्र छिड़कें या चंदन अर्पित करें),
- पुष्प,
- धूप,
- दीप,
- नैवेद्य (पान के पत्ते पर फल, मिठाई, मेवे आदि रखें।),
- ताम्बूल (पान चढ़ाएं),
- प्रदक्षिणा व पुष्पांजलि
गणेश / गणपति पूजन विधि
Ganesh Pujan Vidhi : गणेश चतुर्थी के दिन प्रात:काल स्नानादि से निवृत होकर गणेश पूजन की तैयारी करनी चाहिए | गणेश पूजन से पहले ध्यान रहे की गणेश जी की मूर्ति / प्रतिमा / फोटो – चित्र विराजमान या स्थापित करे | मूर्ति सोने, तांबे, चाँदी, मिट्टी या गाय के गोबर (अपने सामर्थ्य अनुसार) से बनाई जाती है | गणेश मूर्ति व गणपति पूजन सामग्री पूजा की थाली में रख कर पूजा विधि शुरू करे |
- गणेश जी की मूर्ती सामने रखकर और श्रद्धा पूर्वक उस पर पुष्प छोड़े यदि मूर्ती न हो तो सुपारी पर मौली लपेटकर चावल पर स्थापित करें |
- गणपति मूर्ति स्थापित करने के बाद गणेश जी महाराज को दूध, घी, दही, शहद, चीनी, पंचामृत, शुद्ध जल व गंगा जल से
- स्नान करवाए व गणेश जी महाराज को वस्त्र अर्पित करे |
- गणेश मूर्ति पर सुंगंधित तेल या इत्र छिड़क कर लाल चन्दन, रोली व सिंदूर से तिलक करे |
- गणेश जी महाराज को आभूषण व पुष्प माला पहनाकर फुल व बेल का पत्र उनकी प्रतिमा पर अप्रीत करे |
- घी का दीपक व धुप – अगरबत्ती करे |
- और अब गणेश जी महाराज को प्रसाद लगाकर आरती करे |
- आरती समाप्ति के बाद भक्तजन पुष्पांजलि ले |
Ganesh Chaturthi 2020
Shri Ganesh Chaturthi 2020 : Ganesh Chaturthi is celebrated as birth anniversary of Lord Ganesh. On Ganesh Chaturthi, Lord Ganesh is worshipped as the god of wisdom, prosperity and good fortune. Ganesh Chaturthi 2020 will be celebrated 22 August. Ganeshotsav festivity of Ganesh Chaturthi ends after 10 days on Anant Chaturdashi which is also known as Ganesh Visarjan day. On Anant Chaturdashi, devotees immerse idol of Lord Ganesh in water body after a gala street procession.
Ganesh / Ganapati Mantra
गणेश जी महाराज के मंत्र :- बहुत से लोग गणेश जी महाराज को प्रसन्न करने के लिए काफी लम्बे समय तक पूजा – पाठ व गणपति जी का ध्यान करते है | और हम आज आपको यहाँ पर गणेश जी महाराज के वो मंत्र बनाते वाले है जिनका जाप करने के गणपति जी बहुत प्रसन्न होंगे | घर में अगर गणेश जी की स्थापना हो रही है तो इस बात का ध्यान रखे की बप्पा की आरती सुबह औऱ शाम दोनों पहर होनी चाहिए | गणेश जी की कथा और गणेश चालीसा का पाठ अवश्य करें और “ओम् गं गणपतये नमः” मंत्र की एक माला का जाप करना चाहिए
Vakratunda Ganesha Mantra
श्री वक्रतुण्ड महाकाय सूर्य कोटी समप्रभा
निर्विघ्नं कुरु मे देव सर्व-कार्येशु सर्वदा ||
Ganesh Mantra Vakratunda in English
Shree Vakratunda Mahakaya Suryakoti Samaprabha
Nirvighnam Kuru Me Deva Sarva-Kaaryeshu Sarvada !!
Ganesha Shubh Labh Mantra ( गणेश शुभ – लाभ मंत्र )
ॐ श्रीम गम सौभाग्य गणपतये
वर्वर्द सर्वजन्म में वषमान्य नम: ||
Ganesh Mantra Subh Labh In English
Om Shreem Gam Saubhagya Ganpataye
Varvarda Sarvajanma Mein Vashamanya Namah !!
Ganesha Gayatri Mantra ( गणेश गायत्री मंत्र )
ॐ एकदन्ताय विद्धमहे, वक्रतुण्डाय धीमहि
तन्नो दन्ति प्रचोदयात ||
Ganesh Gayatri Mantra in English
Om Ekadantaya Viddhamahe, Vakratundaya Dhimahi,
Tanno Danti Prachodayat !!
इस प्रकार हम सम्पूर्ण विधि – विधान के अनुसार गणेश चतुर्थी / विनायक चतुर्थी पर भगवान श्री गणेश जी महाराज की पूजा – पाठ व मंत्रो का उच्चारण कर Shri Ganesh Ji Maharaj को प्रसन्न कर सकते है |